65 फीट ऊंचे इस मणि पर्वत के विषय में मान्यता है कि हनुमान भगवान राम के भाई लक्ष्मण के लंका में मूर्छित होने पर इस पर्वत से संजीवनी बूटी लेकर आए थें। कुछ विद्वानों का यह भी मनना है कि यहीं से बौद्ध धर्म का उद्गम हुआ था।